गन्ना, भारत की महत्वपूर्ण वाणिज्यिक (नकदी) (Commercial) फसलों में से एक है। चीनी (Sugar) का मुख्य स्रोत गन्ना है। भारत दुनिया में चीनी का दूसरा तथा गन्ने के मामले में सबसे बड़ा (ब्राजील के बाद) उत्पादक देश है। गन्ने की खेती बड़ी संख्या में लोगों को रोजगार देती है और विदेशी मुद्रा (Foreign Money) प्राप्त करने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।
- गन्ने की बुआई : अक्टूबर-नवम्बर
- बसंत कालीन गन्ना : फरवरी-मार्च में
- मिट्टी : काली भारी मिट्टी, पीली मिट्टी, तथा रेतीली मिट्टी
- गन्ना बहुवर्षीय फसल है।
ब्राजील प्रति वर्ष 768,678,382 टन उत्पादन की मात्रा के साथ दुनिया का सबसे बड़ा गन्ना उत्पादक (Producer) है।
विश्व में फिलहाल सबसे अधिक चीनी का उत्पादन (Production) ब्राज़ील में होता है। 2017-18 के आंकड़े को देखें तो ब्राज़ील विश्व में चीनी का सबसे बड़ा उत्पादक देश है। उत्तर प्रदेश, भारत के 39% गन्ने का उत्पादन करता है, वहीं उत्तर प्रदेश का शामली गन्ना उत्पादन के मामले में प्रथम स्थान रखता है।
- खरीफ की फसलों के उदाहरण : धान (चावल), मक्का, ज्वार, बाजरा, मूँग, मूँगफली, गन्ना, सोयाबीन, उडद, तुअर, कुल्थी, जूट, सन, कपास आदि।
- गन्ने का मूल्य/Price of Sugarcane : गन्ने की फसल MSP मूल्य के अंतर्गत नहीं आती है, इसके लिए उचित एवं लाभकारी मूल्य जारी किया जाता है। यूपी की योगी सरकार ने वर्तमान 2021-22 के मार्केटिंग साल के लिए गन्ने का फिक्ट रेट (SAP) 335 रुपए, 340 रुपए और 350 रुपए प्रति क्विंटल रखा है। तीन रेट वैराइटी के हिसाब से रखे गए हैं। मतलब 335 वाली कमतर वैराइटी, 340 वाली मंझोली और 350 वाली बेहतरीन किस्म।
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