भारत के तेल उत्पादक क्षेत्र में निम्नलिखित हैं, जो इस प्रकार हैं।
असम-मेघालय तेल क्षेत्र
जहां सर्वप्रथम 1867 में माकूम क्षेत्र में 36 मीटर की गहराई पर तेल निकाला गया तथा 1882 में मारघरीटा में एक छोटी शोधनशाला बनाई गई। पुनः 1890 में डिगबोई में तेल मिला। यहां प्रमुख क्षेत्र में डिगबोई क्षेत्र, नहरकटिया क्षेत्र, हगरीजन-मोरान तेल क्षेत्र, सुरमा नदी घाटी क्षेत्र, रुद्रसागर एवं लकवा
गुजरात तेल क्षेत्र
यह मुंबई अपतटीय क्षेत्र के बाद भारत का प्रमुख तेल क्षेत्र है। यहां 1958 से तेल उत्पादन प्रारंभ हुआ था। यहां के प्रमुख क्षेत्र खंभात क्षेत्र में लुनेज क्षेत्र, अंकलेश्वर क्षेत्र, नव गांव तथा धोलका क्षेत्र प्रमुख है।
मुंबई अपतटीय क्षेत्र
पश्चिमी तट पर मुंबई के निकट मुंबई हाई एवं वसीन अपतटीय क्षेत्र में तेल उत्पादन किया जाता है। यहां 1976 से तेल प्राप्त किया जाता है। कैम्बे बेसिन (खम्भात) के निकट भी तेल क्षेत्रों का पता चला है। वसीन क्षेत्र के निकट भी नवीन संरचना का पता चला है। वर्तमान में यह क्षेत्र भारत का सर्वप्रमुख तेल क्षेत्र है।
अन्य क्षेत्र
- कृष्णा गोदावरी क्षेत्र (रावा क्षेत्र) – आंध्र प्रदेश के परसापौड़ी में उत्पादन प्रारंभ हो गया है।
- तमिलनाडु में पेरुनगुलम क्षेत्र
- राजस्थान का क्षेत्र
राजस्थान में उत्पादित तेल पर आधारित एवं विद्युत गृह जैसलमेर के रामगढ़ में स्थित किया गया है। राजस्थान के बाड़मेर जिले में मग्गा की ढाणी तथा जागासरिया में मिला है। जागासरिया तेल के कुए को मंगला-1 नाम दिया गया है।
नए संभावित क्षेत्र
- गंगा घाटी का क्षेत्र
- पंजाब क्षेत्र
- हिमाचल क्षेत्र
- जम्मू कश्मीर क्षेत्र
- उड़ीसा में महानदी डेल्टा क्षेत्र
- केरल कोंकण क्षेत्र
18 पेट्रोलियम शोधन केंद्र निम्नलिखित है।
- IOC के अंतर्गत : गुवाहाटी, बरौनी, कोयली हल्दिया, मथुरा, डिगबोई व पानीपत
- BPCL के अंतर्गत : मुंबई
- HPCL : मुंबई तथा विशाखापत्तनम,
- कोच्चि रिफायनरी लिमिटेड : कोच्चि
- CPCL के अंतर्गत : मनाली तथा नरीमनम
- BRPL के अंतर्गत : बोंगाईगांव रिफायनरी
- MRL : नुमालीगढ़
- ONGC : ताटीपाका
- MRPL : मंगलौर
- निजी क्षेत्र में RPL : रिलायंस रिफाइनरी, जामनगर
इनमें उत्पादन की दृष्टि से क्रमशः जामनगर, कोयली, मंगलौर BPCL, मुंबई, मथुरा, कोच्चि, विशाखापटनम प्रमुख है। न्यूनतम उत्पादन टाटीपाडा, डिगबोई तथा नारीमनम में होता है। < Read More >